व्यापमं ने दो साल में वकीलों पर खर्च किए 60 लाख रुपए

नई दिल्ली (एजेंसी)। 2013 में घोटाला उजागर होने के बाद से मप्र व्यावसायिक परीक्षा मंडल (व्यापमं) ने विभिन्न मुकदमों को लेकर 12 वकीलों पर अब तक 60 लाख रुपए खर्च कर दिए हैं। कुछ वकीलों को जहां लाखों रुपए दिए गए वहीं कुछ को इस साल फूटी कौड़ी नहीं मिली। यह जानकारी आरटीआई के तहत दायर एक अर्जी के जवाब में सामने आई है।
अर्जी आरटीआई कार्यकर्ता अजय दुबे ने दायर की थी। उसके जवाब में व्यापमं ने विस्तृत जानकारी दी है। किस वकील को कितने मिले -मप्र हाई कोर्ट जबलपुर के वकील पुरुषेन्द्र कौरव को वर्ष 2013 में 302 केस के लिए 4.52 लाख, 2014 में 407 केस के लिए 38.41 लाख और 2015 में 76 केस के लिए 3.40 लाख रुपए से ज्यादा। - सुप्रीम कोर्ट के वकील राहुल श्रीवास्तव को 2014 में दो केस के लिए 55 हजार, 42 केस के लिए 2015 में 9.32 लाख रुपए। -हाई कोर्ट के वकील विवेक खेडेकर को 2015 में 12 केस के लिए अब तक एक धेला नहीं मिला।
हालांकि उन्हें 2013 में 9 केस के लिए 36 हजार और 2014 में 20 केस के लिए 40 हजार रुपए मिल चुके हैं। -शोभितादित्य श्रीवास्तव को 2014 व 2015 के सात केस के लिए कोई पैसा नहीं मिला। हालांकि उन्हें 2013 में सात केस के लिए 4 हजार रुपए दिए गए। अन्य वकीलों को भी मिले उक्त वकीलों के अलावा मनोज त्रिवेदी, आकाश शर्मा, एमपीएस रघुवंशी, अनामिका कुमार, राहुल दिवाकर, दीपक चांदना, पीयुष दुबे, रघुवीर सिंह चौहान को भी कुछ सालों की राशि दी गई है तो कुछ साल की फीस बाकी है।
2013 में 20 गिरफ्तार हुए थे व्यापमं घोटाला 2013 में 2009 की प्रवेश परीक्षा में 13 मुन्नाभाइयों की गिरफ्तारी के साथ उजागर हुआ था। प्रवेश परीक्षाओं के अलावा नौकरियों के लिए भर्ती की परीक्षाएं संचालित करने वाले व्यापमं के बहुचर्चित घोटाले उजागर होने के बाद से अब तक 48 लोगों की मौत हो चुकी है। इनमें से अधिकांश मौतें रहस्यमयी परिस्थिति में हुई है।
इस साल जुलाई में जांच सीबीआई को सौंपने के साथ ही मौतों की भी जांच का आदेश दिया है। आईएफएस की मौत की जांच जारी व्यापमं घोटाले के बाद से हुई मौतों में सबसे ताजा मौत भारतीय वन सेवा के अधिकारी विजय बहादुर सिंह की है। उनका शव 15 अक्टूबर को ओडिशा के बेलपहाड़ स्टेशन के पास रेलवे पटरी पर मिला था। वह पुरी-जोधपुर ट्रेन से सफर कर रहे थे। सीबीआई उनकी मौत की भी जांच कर रही है।
Powered by Blogger.